Voice Quotes in Hindi – वाणी से व्यक्ति के ज्ञान और नम्रता का पता चलता हैं. वाणी में इतनी शक्ति होती है कि यह हृदय को जीत लेता हैं. कटु वाणी बोलने से इंसान खुद भी दुखी होता हैं और दूसरो को भी दुःख देता हैं. प्रिय वचन बोलने से खुद को भी सुख मिलता हैं और दूसरों को भी. कटु वाणी तभी बोले जब उससे किसी का भला हो. इस पोस्ट में वाणी पर अनमोल विचार दिए हुए हैं. इस कोट्स को जरूर पढ़े.
Voice Quotes in Hindi | वाणी पर बेहतरीन विचार
कठोर वचन बुरा है क्योकि तन-मन को जला देता है और मृदुल वचन अमृत वर्षा के समान हैं. – कबीर
कितना भी दुःखद विषय हो, उसकी चर्चा कठोर भाषा में नहीं करनी चाहिए. – महात्मा गांधी
कटु वचन कहने से अच्छा है कि ख़ामोश रहा जाए. – अज्ञात
कड़वी बात भी हंस कर कही जाए तो मीठी हो जाती हैं. – प्रेमचंद
मनुष्यों के पास धन-दौलत के अंबार हो सकते है लेकिन बुद्धिमान मनुष्य की वाणी तो अनमोल होती हैं. – बाइबिल
मनुष्य की वाणी से उसके गुण और अवगुण जाने जा सकते हैं. – शेख सादी
कम बोलने से मन की शक्ति बढ़ती है. – महात्मा विदुर
कटु वचन दुसरे के मर्म स्थान पर चोट करते हैं और बदले में वह श्राप देता है, जो निष्फल नहीं जाता. – वेद व्यास
कभी-कभी मौन रह जाना सबसे तीखी आलोचना होती हैं. – अज्ञात
मौन से अच्छा भाषण दूसरा नहीं. फिर भी बोलना पड़े तो जहाँ एक शब्द से काम चलता हो वहां दूसरा शब्द न बोलें. – महात्मा गांधी
हम जो कुछ बोलें, उसमें बल होना चाहिए. – सरदार पटेल
वाणी से भी बाणों की वर्षा होती है. जिस पर इसकी बौछारें पड़ती हैं, वह दिन-रात दुःखी रहता है. – वाल्मीकि
बोलना शिष्टाचार है और शिष्टाचार में सच और ईमानदारी होना आवश्यक है. – इमर्सन
न्यून वाणी मूर्खो की समझ में नहीं आती और अधिक बोलना विद्वानों को उद्विगन करता है. – धनंजय
मधुर वचन सुनने में भी और कहने में भी प्रसन्नता देते हैं. लेकिन मधुर वचन अहंकार त्याग से ही संभव है. – कबीर
प्रिय होने पर भी जो वचन हितकर न हो, उसे न कहें. हितकर कहना ही अच्छा है. चाहे वह सुनने में अत्यंत अप्रिय ही क्यों न हो. – विष्णु पुराण
जीभ को जीत लेना सब वस्तुओं को जीत लेने के बराबर है. – महात्मा गांधी
जब मन और वाणी एक होकर कोई चीज मांगते है, तब उस प्रार्थना का फल अवश्य मिलता है. – स्वामी रामकृष्ण
झूठा वादा करने से विनम्र इन्कार करना अच्छा है. – टॉलस्टाय
मौन और एकांत पवित्र आत्मा के सर्वोत्तम मित्र हैं. – विनोबा भावे
जहाँ मनुष्य की जिह्वा बोलने में असमर्थ हो जाती हैं, वहां पत्थर बोलना प्रारम्भ कर देते हैं. – स्वामी रामतीर्थ
नम्रता और मीठे वचन ही मनुष्य का आभूषण हैं. – स्वामी विवेकानंद
जो अपने मुख और जिह्वा पर संयम रखता है, वह अपनी आत्मा को संतापों से बचाता है. – बाइबिल
वार्तालाप बुद्धि को मूल्यवान बना देता है, परन्तु एकांत प्रतिभा की पाठशाला है. – गिबन
अगर झूठ बोने से किसी की जान बचती है तो झूठ बोलना पाप नहीं. – प्रेमचंद
अधिक देखे, अधिक सुनें, किन्तु बोलें कम. – गुरू नानक देव
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