Cripps Mission in Hindi | क्रिप्स मिशन क्या हैं?

What is Cripps Mission in Hindi ( Cripps Yojana in Hindi ) – क्रिप्स मिशन क्या हैं? द्वितीय विश्व युद्ध में जापान की निरंतर विजय ने और मित्र राष्ट्रों की बिगड़ती स्थिति के कारण ब्रिटिश प्रधानमंत्री चर्चिल ने भारत के राजनीतिक गतिरोध को दूर करने के लिए मार्च, 1942 ई. में स्टैफर्ड क्रिप्स (  Stafford Cripps ) को भारत भेजा. क्रिप्स पंडित नेहरू के व्यक्तिगत मित्र थे. भारतीयों को उनसे बहुत आशाएं थी. ब्रिटिश सरकार ने कुछ अनेक कारणों से क्रिप्स को भारत भेजा था.

  • गांधी जी के नेतृत्व में कांग्रेस का दृष्टिकोण
  • ब्रिटिश जनमत का दबाव
  • जापान का खतरा
  • ब्रिटेन पर मित्र-राष्ट्रों का दबाव
  • आजाद हिन्द फ़ौज का खतरा आदि.

क्रिप्स मिशन | Cripps Mission in Hindi

मिस्टर स्टैफर्ड क्रिप्स 22 मार्च, 1942 को भारत आये. उन्होंने अपने बीस दिन के भारत प्रवास में कांग्रेस, मुस्लिम लीग, हिन्दू महासभा आदि वर्गों के प्रतिनिधियों से भेंट की. तत्पश्चात 29 मार्च, 1942 ई. को अपना प्रस्ताव प्रकाशित किया. इस प्रस्ताव को ही “क्रिप्स योजना ( Cripps Yojana )” कहा जाता हैं.वैसे तो क्रिप्स प्रस्तावों को दो भागों में बाँटा जा सकता हैं – (1) युद्ध के बाद लागू होने वाले प्रस्ताव (2) तुरंत लागू होने वाले या अंतरित काल में लागू होने वाले प्रस्ताव. लेकिन सुविधा की दृष्टि से क्रिप्स प्रस्ताव की मुख्य बातें निम्नलिखित थी.

  1. ब्रिटिश सरकार ने भारत में शीघ्र स्वशासन के विकास के लिए निश्चित कदम उठाने का निश्चय किया हैं.
  2. युद्ध की समाप्ति पर प्रांतीय विधानसभाओ के लिए नये चुनाव होंगे एवं भारत में एक संविधान निर्मात्री सभा गठित की जाएगी जिसमें ब्रिटिश भारत और देशी रियासतें दोनों के प्रतिनिधि होंगे.
  3. क्रिप्स प्रस्ताव में यह भी कहा गया कि यदि भारत चाहेगा तो वह राष्ट्र्मंडल से सम्बन्ध विच्छेद कर सकेगा.
  4. युद्ध के नाजुक समय में भारत की सुरक्षा का उत्तरदायित्व ब्रिटिश सरकार पर होगा.
  5. उक्त सभी कार्य भारतीयों के सहयोग से ही हो सकते हैं.

यद्यपि क्रिप्स प्रस्ताव अगस्त, 1940 ई. के प्रस्ताव से बहुत अच्छे थे फिर भी भारतीयों को क्रिप्स प्रस्ताव संतुष्ट नहीं कर सके. गांधी ने इस पर अपनी तीव्र प्रतिक्रिया व्यक्त की और क्रिप्स से कहा कि यदि आपके साप यही प्रस्ताव थे तो आपने आने का कष्ट क्यों किया? यदि भारत के सम्बन्ध में आपकी यही योजना है तो मैं आपको यही परामर्श दूँगा की आप अगले ही हवाई जहाज से इंग्लैण्ड लौट जाएँ. उन्होंने कहा कि क्रिप्स प्रस्तावों का पूर्ण अध्ययन करने पर यह बात स्पष्ट हो जाती है कि क्रिप्स प्रस्ताव नितांत असंतोषजनक हैं. कांग्रेस द्वारा सम्पूर्ण भारत की स्वतन्त्रता की माँग की जा रही थी. जिसके फ़लस्वरूप 11 अप्रैल, 1942 ई. को ब्रिटिश सरकार ने क्रिप्स प्रस्तावों को वापस ले लिया.

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