तकलीफ ये नही की किस्मत ने मुझे धोखा दिया,
मेरा यकीन तुम पर था किस्मत पर नही.
घुटन सी होने लगी है,
इश्क़ जताते हुए,
मैं खुद से रूठ गया हूँ,
तुम्हे मनाते हुए.
मोहब्बत तो दिल से की थी,
दिमाग उसने लगा लिया…
दिल तोड दिया मेरा उसने
और इल्जाम मुझपर लगा दिया.
तेरे बिना जीना मुश्किल है …!
ये तुझे बताना और भी मुश्किल है.
मोहब्बत होने में कुछ लम्हे लगते है ..
पूरी उम्र लग जाती है उसे भुलाने में…
प्यार करना हर किसी के बस की बात नहीं …
जिगर चाहिए अपनी ही खुशियां बर्बाद करने के लिये…
बड़ी अजीब सी मोहब्बत थी तुम्हारी…
पहले पागल किया..
फिर पागल कहा..
फिर पागल समझ कर छोड़ दिया.
वो सुना रहे थे अपनी वफाओं के किस्से,
हम पर नज़र पड़ी तो खामोश हो गये.
लोग पूछते हैं, मैं क्या करती हूँ…
उन्हें क्या बताऊँ…
मौहब्बत की थी, अब रोज मरती हूँ…
एक दिन, मेरी आँखों ने भी थककर मुझसे कह दिया,
ख्वाब वो देखा करों जो पूरे हो,
रोज-रोज हमसे भी रोया नही जाता…!!!
वो अब नही आयेंगे आँसू पोछने,
नादान आँखों को कैसे समझाऊ…
जान जब प्यारी थी,
तब दुश्मन हजार थे…
अब मरने का शौक हैं,
तो कातिल नही मिलते…