Maharana Pratap Shayari in Hindi (Maharana Pratap Jayanti Shayari) – महाराणा प्रताप के शौर्य और वीरता की गाथा बहुत ही रोचक और अद्भुत हैं जिसे सुनकर रोम-रोम ऊर्जावान हो जाता हैं.
महाराणा प्रपात में कितना शौर्य और साहस रहा होगा जिसकी वजह से अकबर भी उनसे डरता था. तभी तो कभी राणा के सम्मुख नहीं आया. अगर अकबर राणा के सम्मुख आया होता तो उसकी मृत्यु निश्चित थी. अगर उस समय भारतीय राजा आपसी मतभेद भुला देते तो अकबर जैसे लुटेरे दिल्ली की गद्दी पर नहीं बैठते। कुछ गद्दारों ने भारत माँ के शीश को झुका दिया तो कुछ वीर सपूतों ने भारत माँ का सिर गर्व से उठा दिया। सदा जय हो मेवाड़ी सरदार की…
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महाराणा प्रताप पर शायरी | Shayari on Maharana Pratap
जो मातृभूमि की स्वतन्त्रता के लिए हर कष्ट सहन करते हैं,
रण में जो कभी हार नहीं माने उसको महाराणा प्रताप कहते हैं,
भोर वीरता और पराक्रम की हर रात दिखा दी थी,
शौर्य भरा कण कण में ताक़त वो अज्ञात दिखा दी थी,
मुग़लों का दम्भ निचोड़ दिया इतिहास गढ़ा तुमने राणा
मेवाड़ धरा के दुश्मन को उसकी औक़ात दिखा दी थी।
अनामिका जैन अम्बर
Maharana Pratap Shayari
प्रताप का सिर कभी नहीं झुका,
इस बात से अकबर भी शर्मिंदा था,
मुगल कभी चैन से सो न सके
जब तक मेवाड़ी राणा जिन्दा था.
महाराणा प्रताप जैसे वीर हर हिन्दुस्तानी को प्यारा हैं,
मेवाड़ी सरदार के चरणों में शत-शत नमन हमारा हैं.

अकबर भी प्रताप के वीरता से घबराया था,
तभी तो हल्दीघाटी के युद्ध में वह स्वयं नही आया था,
महाराणा प्रताप जयंती शायरी | Maharana Pratap Jayanti Shayari
राजपुताने की आन है राणा,
राजपुताने की शान है राणा,
वीरों के लिए एक पैगाम है राणा,
भारत के वीर पुत्र का नाम है राणा.

प्रताप के शौर्य की गाथा हर कोई सुनाएगा गाकर.
मातृभूमि भी धन्य हो गई प्रताप जैसा पुत्र पाकर,
महाराणा प्रताप से अकबर भी डरता था,
फिर स्वयं को वह वीर कैसे कहता था.
Maharana Pratap Jayanti Shayari in Hindi
शत-शत नमन उस मेवाड़ी प्रताप को
जो अपने भाले से दुश्मनों को मारे थे,
मातृभूमि की स्वतन्त्रता के खातिर
कई वर्ष जंगल में गुजारे थे.
वीरों के साथ ही वीर रहते हैं,
राणा के घोड़े को चेतक कहते हैं.
महाराणा प्रताप शायरी
साहस का प्रतीक नीले घोड़े पर सवार,
वीरता का प्रतीक मेरा मेवाड़ी सरदार.
मातृभूमि के लिए सर्वस्व निछावर कर जाऊँगा,
वक्त आने पर मैं भी मेवाड़ी राणा बन जाऊँगा.

ये हिन्द झूम उठे गुल चमन में खिल जाएँ,
दुश्मनों के कलेजे नाम सुन के हिल जाएँ,
कोई औकात नहीं चीन-पाक जैसे देशों की
वतन को फिर से जो राणा प्रताप मिल जाएँ.
Maharana Pratap Jayanti Shayari
महाराणा प्रताप के शौर्य को शत-शत वंदन हैं,
धन्य है राजस्थान जिसका माटी भी चंदन हैं.
महाराणा प्रताप जयंती शायरी
हर हिन्दुस्तानी को महाराणा प्रताप जैसा बनना चाहिए,
मातृभूमि की सेवा के लिए तन-मन-धन से तैयार रहना चाहिए.
हल्दीघाटी के युद्ध में मेवाड़ी वीरों ने कोहराम मचाया था,
महाराणा प्रताप की वीरता देख अकबर भी घबराया था.
इकबाल था बुलंद, उसे धूल कर दिया,
मद जिसका था प्रचंड, सारा दूर कर दिया,
राणा प्रताप एकमात्र, ऐसे वीर थे
अकबर का सब घमंड, जिसने चूर कर दिया.
Maharana Pratap Shayari
सबसे बड़ा पाप है अन्याय को सह जाना,
वीरों को शोभा नहीं देता चुप रह जाना.

हल्दीघाटी के युद्ध में
प्रताप के तलवार को देखकर शत्रु भाग रहा था,
राणा की एक हुंकार से पूरा अरि दल काँप रहा था.
आगे नदिया पड़ी अपार
घोड़ा कैसे उतरे उस पार,
राणा ने सोचा इस पार
तब तक चेतक था उस पार.
सूरज का तेज भी फीका पड़ता था,
जब राणा अपना मस्तक ऊँचा करता था,
थी उसमें कोई बात निराली
इसलिए अकबर भी राणा से डरता था.
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